रायपुर :- छत्तीसगढ़ सरकार की कैबिनेट बैठक में सोमवार को किसानों और शहरी विकास के क्षेत्र में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में कृषक उन्नति योजना को संशोधित करते हुए इसे और व्यापक बनाया गया है। अब इस योजना का लाभ खरीफ 2025 में केवल धान उत्पादक किसानों तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि पंजीकृत धान फसल के स्थान पर दलहन, तिलहन, मक्का जैसी अन्य फसलें लगाने वाले किसानों को भी इसका लाभ मिलेगा।
सरकार के इस निर्णय को राज्य में फसल विविधीकरण को बढ़ावा देने और किसानों की आय में वृद्धि के प्रयास के रूप में देखा जा रहा है। इससे वे किसान भी लाभान्वित होंगे जो परंपरागत धान की खेती छोड़कर अन्य लाभकारी फसलों की ओर रुख कर रहे हैं। कैबिनेट ने प्रदेश के विभिन्न विभागों, निगमों, मंडलों, कंपनियों और बोर्डों के अधीनस्थ पुराने व जर्जर भवनों तथा अनुपयोगी शासकीय भूमि के सुनियोजित विकास व सदुपयोग के लिए रिडेवेलपमेंट योजना के तहत 7 परियोजनाओं को मंजूरी दी है। इसमें रायपुर के शांतिनगर और बीटीआई शंकर नगर, राजनांदगांव का कैलाश नगर, जगदलपुर का चांदनी चौक फेस-2, कांकेर का सिविल लाइन, महासमुंद का क्लब पारा और कोरबा का कटघोरा क्षेत्र शामिल हैं।

इसके साथ ही वाणिज्यिक कर (पंजीयन) विभाग के अंतर्गत उच्च श्रेणी पंजीयन लिपिक/रिकॉर्ड कीपर से तृतीय श्रेणी कार्यपालिक उप पंजीयक के पद पर पदोन्नति के लिए अनिवार्य न्यूनतम सेवा अवधि को एक बार के लिए 5 वर्ष से घटाकर 2 वर्ष कर दिया गया है। इस निर्णय से विभाग के कर्मियों को त्वरित पदोन्नति का अवसर मिलेगा और विभागीय कार्यों में गति आएगी। कैबिनेट के इन फैसलों को राज्य में कृषि सुधार, शहरी पुनर्विकास और प्रशासनिक दक्षता के लिए एक अहम कदम माना जा रहा है।
कैबिनेट की बैठक में किसानों के हित में बड़ा निर्णय लिया गया है।
कृषक उन्नति योजना के प्रचलित निर्देशों को संशोधित करते हुए इसके दायरे को और विस्तृत किया है। अब इस योजना का लाभ खरीफ 2025 में धान उत्पादक किसानों के साथ-साथ पंजीकृत धान फसल के स्थान पर अब दलहन, तिलहन, मक्का आदि की… pic.twitter.com/dRFm7ZiZoj
— Vishnu Deo Sai (@vishnudsai) June 30, 2025
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